पाली। झालावाड़ में सरकारी स्कूल की बिल्डिंग गिरने की घटना के बाद अब पाली जिले के स्कूल भवनों को लेकर भी चिंता बढ़ गई है। जिले में 61 स्कूल पूरी तरह जर्जर स्थिति में हैं, जबकि 274 स्कूलों की मरम्मत के लिए बजट की मांग की जा चुकी है। लेकिन हालात यह हैं कि सरकारी तंत्र दानदाताओं की मदद के भरोसे है।
आदर्श नगर स्कूल की बदहाली
शहर के पॉश इलाके माने जाने वाले आदर्श नगर स्थित सरकारी स्कूल, जो आठवीं तक संचालित होता है, लगभग 50 साल पुराना है। यहां 60 से 65 बच्चे पढ़ने आते हैं, लेकिन भवन और सुविधाओं की स्थिति बेहद खराब है।
स्कूल ग्राउंड में बरसाती पानी भरा हुआ है, जिसकी निकासी की कोई व्यवस्था नहीं।
शौचालय जर्जर स्थिति में हैं और आस-पास झाड़ियां उगी हुई हैं।
बच्चों को बाथरूम जाने में डर लगता है।
मरम्मत के लिए कोई विशेष बजट आवंटित नहीं हुआ।
नया गांव स्कूल की स्थिति
पाली शहर के नया गांव सरकारी स्कूल की हालत भी कुछ अलग नहीं है।
पाली शहर के आशापुरा नगर स्कूल की स्थिति
बरसात में ग्राउंड में पानी भर जाता है।
स्कूल के कमरों और गैलेरी की छत टूट चुकी थी, मरम्मत के बाद भी हालत दयनीय है।
कई कक्षाओं में छत और दीवारों का प्लास्टर उखड़ा हुआ है।
बरसाती पानी की निकासी की कोई सुविधा नहीं, जिससे बच्चों को आने-जाने में दिक्कत होती है। कई दिनों से पानी की निकासी नहीं होने से यह विद्यालय बंद है और बच्चों की पढ़ाई भी बंद है।
अभिभावकों में बढ़ा डर
ऐसे हालात में बच्चों को इन स्कूलों में भेजने वाले अभिभावक लगातार हादसे की आशंका से परेशान हैं। बरसात में जर्जर स्कूलों की दीवारें और छतें बड़ा खतरा बन सकती हैं।