पाली। जिले के सुमेरपुर विधानसभा क्षेत्र के निकटवर्ती बालेलाव गांव में सोमवार को जर्जर स्कूल भवन की मरम्मत की मांग को लेकर ग्रामीणों ने अनूठा विरोध प्रदर्शन किया। ग्रामीणों ने राजकीय उच्च प्राथमिक विद्यालय के मुख्य गेट पर ताला लगा दिया, जिससे शिक्षक अंदर नहीं जा सके। बच्चों के साथ स्कूल के बाहर धरने पर बैठे ग्रामीणों ने प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी की।
ग्रामीणों का कहना है कि स्कूल भवन बीते कई वर्षों से खस्ताहाल स्थिति में है। बरसात के दौरान छत से पानी टपकता है और प्लास्टर गिरता है। पिछले साल भी बच्चों पर प्लास्टर गिरने की घटनाएं हुई थीं। ऐसे में कभी भी बड़ा हादसा हो सकता है। ग्रामीणों ने चेतावनी दी कि जब तक भवन की मरम्मत नहीं होती, वे अपने बच्चों को स्कूल नहीं भेजेंगे।
पांच साल से कर रहे हैं मांग, अब तक नहीं मिली सुनवाई
विद्यालय प्रबंधन समिति के अध्यक्ष घीसाराम गुर्जर ने बताया कि पिछले पांच वर्षों से स्कूल भवन की मरम्मत के लिए कई बार प्रस्ताव भेजे जा चुके हैं। जिला शिक्षा अधिकारी को बार-बार पत्र लिखे गए हैं, लेकिन हर बार केवल आश्वासन ही मिला है। उन्होंने कहा कि “अगर झालावाड़ जैसी कोई घटना यहां हो गई तो इसकी जिम्मेदारी किसकी होगी?”
बच्चों की जान जोखिम में
स्थानीय निवासी अनोप सिंह ने बताया कि स्कूल भवन करीब 20 साल पुराना है। हर बारिश में छत से पानी टपकता है और प्लास्टर झड़ता है। “हम आश्वासन नहीं, अब कार्रवाई चाहते हैं। यदि कोई हादसा होता है तो हम प्रशासन और शिक्षा विभाग को जिम्मेदार मानेंगे,” उन्होंने कहा।
प्रिंसिपल ने दी जानकारी
विद्यालय के प्रिंसिपल भगवतसिंह ने बताया कि उन्होंने भवन मरम्मत के लिए जिला शिक्षा अधिकारी को पत्र भेजा है। बजट स्वीकृत होते ही मरम्मत का कार्य शुरू करवा दिया जाएगा। फिलहाल स्कूल में कक्षा 1 से 8 तक के 140 विद्यार्थी पढ़ते हैं, जो बालेलाव सहित सदावास और गुर्जरों का ढाणा जैसे आस-पास के गांवों से आते हैं। स्कूल में 9 शिक्षक कार्यरत हैं।
शिक्षा विभाग की चुप्पी पर उठे सवाल
गांव से महज 11 किलोमीटर दूर जिला मुख्यालय होने के बावजूद शिक्षा विभाग की चुप्पी और निष्क्रियता पर ग्रामीणों ने सवाल खड़े किए हैं। ग्रामीणों का कहना है कि अब वे सिर्फ आश्वासन नहीं लेंगे, बल्कि मरम्मत कार्य शुरू होने तक आंदोलन जारी रहेगा।